चन्द्रग्रहण प्रभाव: सुबह 8:35 बजे बंद हो जाएंगे मंदिरों के कपाट

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माघी पूर्णिमा पर बुधवार को साल का पहला चंद्रग्रहण पड़ने जा रहा है। गोमतीनगर निवासी आचार्य प्रदीप के मुताबिक, बुधवार 31 जनवरी की शाम करीब 5:35 से चंद्रग्रहण स्पर्श शुरू होगा। खग्रास चंद्रग्रहण की कुल अवधि 187 मिनट की रहेगी। चंद्रग्रहण का स्पर्श शाम को 5:35 बजे होगा, मध्य शाम 7 बजे और चंद्रग्रहण का मोक्ष रात 8:42 बजे होगा। देश के अधिकतर भू-भाग से इस ग्रहण का स्पर्श, मध्य और मोक्ष देखा जा सकेगा।
सूतक सुबह 8:35 बजे से शुरू होगा, इसीलिए सुबह मंदिरों के कपाट बंद हो जाएंगे। ग्रहण कर्क, सिंह, वृश्चिक, धनु, मीन, मेष राशि कारकों के लिए परेशानी बनेगा, बाकी राशि जातकों के लिए शुभ फलदायक रहेगा। उधर, चंदग्रहण के चलते नगर के कोनेश्वर, मनकामेश्वर मंदिरों समेत सभी शिवालयों में सुबह के समय पूजन थमेगा और मंदिरों के कपाट बंद होंगे। नगर के तमाम शिवालय और मंदिर देर रात तक शुद्धि होने के तक बंद होंगे।
मनकामेश्वर, हनुमान सेतु सब मंदिर सुबह से होने लगेंगे बंद
– नगर के सबसे बड़े शिवालय मनकामेश्वर मंदिर के कपाट सुबह भोर के पूजन आरती के बाद 8:14 बजे से बंद हो जाएंगे। सूतक काल के चलते मंदिर रात 8:42 बजे तक बंद रहेगा। उसके बाद शुद्ध किया जाएगा और रात 9 बजे से खुलेगा। आरती-दर्शन के बाद मंदिर दो घंटे बाद रात 11 बजे से फिर बंद हो जाएगा।
राजेन्द्रनगर स्थित महाकाल मंदिर के कपाट तो लगभग 20 घंटे तक बंद रहेंगे। व्यवस्थापकों के मुताबिक, सूतक काल के चलते मंदिर भोलेनाथ की आरती के बाद सुबह 8:22 बजे बंद हो जाएगा और एक फरवरी की भोर 4:45 बजे पूजन आरती दर्शनों के लिए खुलेगा।
– हनुमान सेतु मंदिर भी सूतक काल के चलते सुबह सवा आठ बजे से बंद होना शुरू हो जायेंगे, मंदिर के कपाट दर्शनों के लिये रात करीब पौने नौ बजे तक बंद रहेंगे। स्नान शुद्धि के बाद मंदिर रात 9 बजे फिर से अगले एक-दो घंटे के लिए खुलेंगे।
चंद्रग्रहण के चलते सूतक काल में कोनेश्वर मंदिर, कल्याण गिरि, छोटी-बड़ी काली जी मंदिर, बुद्धेश्वर मंदिर, स्वप्नेशवर मंदिर, अलीगंज नया पुराना हनुमान मंदिर, पंचमुखी हनुमान मंदिर समेत सभी मंदिर सूतक काल के दौरान बंद रहेंगे।

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